चचा हंगामी लाल बहुत चिन्तातुर स्वर मं बोले,, कहां हो लाला,., जरा हमारी सुनो,, ये देखो तुम्हारे बिरादरी भाइयों ने क्या कर दिया।
हम थोड़े सकुचाए से, बोले क्या चचा, जूता पुराण पर कह रहे हो क्या।
हां, और नहीं तो क्या, अब वो जो किए जो किए, पर हमें बड़ी फिकर हो गई है।
काहे चचा आपको किस बात की फिकर।
अरे हम भी तो परसों प्रेस कान्फ्रेंस बुलाए रहे हैं। कोई किसी बात के प्रोटेस्ट में हम पर भी जूता उछाल दिए तो। और फिर ये प्रोटेस्ट का तरीका भी बड़ा शानदार है। पूरी प्रेस मौके पर ही मौजूद, हाथों हाथ ही खबर सबके हाथ। न कोई प्रेस विज्ञप्ति का झंझट और न ही कोई सैटिंग का चक्कर। प्रोटेस्ट एकदम हाईलाइट हो जाता है।
अरे चचा, ऐसे ही न कोई इतना बड़ा प्रोटेस्ट करता है।
तुम्हारी बात में तो दम है। पर मुद्दा भले ही कितना ही संगीन क्यों न हो जूता तो चल ही गया न। जिस पर चला उसका तो बोलो राम हो गया न। अब परसों हमारी प्रेस कॉन्फ्रेंस में चल गया तो। न बाबा न। हम कोई रिस्क नहीं लेंगे। सालों से पाली पोसी इज्जत का एक ही दिन में जनाजा निकल जाएगा। प्रेस कॉन्फ्रेंस कैंसिल। बस कैंसिल।
अरे, ये क्या करते हो चचा। चुनाव नहीं लड़ना क्या। प्रेस को नहीं बुलाओगे। साथ नही बिठाओगे। कुछ सेवा नहीं करोगे। उन्हें अपन दिल की बात नहीं बताओगे तो अपने मतदाताओं तक कैसे पहुंचोगे। कैसे चुनाव जीतोगे। उन्हें कैसे पता चलेगा कि एक हंगामीलाल ही है जो उनके दुख दर्द में काम आएगा।
अरे कौन किस के काम आएगा.. मैं तो मेरे ही काम आ जाऊं जो बहुत।
अरे कहने के लिए,.. चचा कहने के लिए.. जीतने के लिए ऐसा कहना जरूरी होता है। कहने से ज्यादा सब तक पहुंचाना जरूरी होता। इसके लिए प्रेस को भी बुलाना जरूरी होता है। पर तुम घबराओं मत हम कुछ इन्तजाम करते हैं।
क्या करोगे।.
न रहेगा बांस न बजेगी बांसुरी वाला फार्मुला काम में लेना पड़ेगा। प्रेस कांफ्रेंस वाले रूम में एक बढ़िया कालीन बिछवाकर सबके जूते बाहर ही खुलवा देंगे। जब जूते ही अन्दर नहीं होंगे तो कोई कैसे फैंकेगा।
अरे जूता नहीं तो कोई पैन ही फैंक देगा। तब...
अरे चचा, यह तो मैंने सोचा ही नहीं था। पैन तो फैंका जा सकता है। पैन लाने से किसी को रोका भी नहीं जा सकता। एक काम करते हैं। पैन का भी जुगाड़ करते हें। प्रेस रिलीज सबको पहले ही पकड़ा देंगे और पैन का भी इन्तजाम कर लेंगे।
बेल्ट का क्या करोगे.. और भी न जाने क्या क्या, फैंक सकते हैं लोग.,. तुम क्या क्या उतरवाओगे..
चचा की इस बात पर हमारी जुबान पर ताला लग गया। हम भी सोचने लगे कि वाकई यदि लोग उतरवाने पर आ गए तो क्या क्या उतरवा सकते हैं।
लेकिन यदि आपके पास कोई जूताप्रूफ प्रेस कान्फ्रेंस करवाने का फार्मुला तो जल्द से जल्द बताना। परसों हमारे चचा की प्रेस कान्फ्रेंस जो है..
3 comments:
Apki joota proof press conference mai to maza aa gaya...
बुलैट्प्रूफ केबिन बनवा लिजिए।समस्या हल हो जाएगी।लेकिन सब से अच्छी बात तो यह होगी कि ऐसी पार्टी से ही दूर रहे जो जूते खाने वाले काम करती हो;)
joota proof press confrence, idea to bura nahi hai
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